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वित्त वर्ष 2014-15 की पहली तीन तिमाही के दौरान सेवा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश 44% बढ़ा है।
डिपार्टमेंट ऑफ इंडस्ट्रियल पॉलिसी एंड प्रमोशन (DIPP) के मुताबिक मौजूदा वित्तवर्ष में अप्रैल से दिसंबर के बीच सेवा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश बढ़ कर 2.29 अरब डॉलर हो गया है। पिछले साल की समान अवधि में इस क्षेत्र में 1.59 अरब डॉलर का निवेश हुआ था। विभाग के मुताबिक सरकार के द्वारा देश में कारोबार की प्रक्रिया आसान बनाने को लेकर उठाये गये कदमों की वजह से ये बढ़ोतरी देखने को मिली है।
डीआईपीपी के मुताबिक इस साल की पहली तीन तिमाही में कुल विदेशी निवेश पिछले साल के मुकाबले 27% बढ़ कर 21.04 अरब डॉलर के स्तर पर पहुँच गया है। वित्त वर्ष 2013-14 की पहली तीन तिमाही में देश में 16.56 अरब डॉलर का कुल प्रत्यक्ष विदेशी निवेश हुआ था। जीडीपी में सेवा क्षेत्र का हिस्सा 60% है। इस क्षेत्र में बैंकिंग, बीमा, आउटसोर्सिंग, शोध एवं विकास आदि शामिल हैं। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक वित्त वर्ष 2014-15 के पहले नौ महीनों में सेवा क्षेत्र के बाद सबसे ज्यादा प्रत्यक्ष विदेशी निवेश आकर्षित करने वाला क्षेत्र दूरसंचार रहा। इस अवधि में दूरसंचार क्षेत्र में 2.67 अरब डॉलर का विदेशी निवेश आया। वहीं ऑटो क्षेत्र में 1.58 अरब डॉलर और ऊर्जा क्षेत्र में 57.6 करोड़ डॉलर का प्रत्यक्ष विदेश निवेश देखने को मिला।
कुल प्रत्यक्ष विदेशी निवेश में सेवा क्षेत्र की हिस्सेदारी 18%, निर्माण क्षेत्र की हिस्सेदारी 10% , दूरसंचार क्षेत्र की हिस्सेदारी 7% रही। इसी अवधि में सबसे ज्यादा निवेश यानी कुल निवेश का 35% मॉरिशस के जरिये हुआ है। वहींइस साल की पहली तीन तिमाही में हुए कुल प्रत्यक्ष विदेशी निवेश में सिंगापुर की हिस्सेदारी 13%, ब्रिटेन की 9%, जापान की 7%, नीदरलैंड की 6% और अमेरिका की 6% हिस्सेदारी रही है। (शेयर मंथन, 9 मार्च 2015)