एनपीए में जोरदार बढ़ोतरी के कारण 2018 की जुलाई-सितंबर तिमाही में देना बैंक (Dena Bank) को 416.70 करोड़ रुपये का घाटा हुआ।
इसके मुकाबले पिछले साल की समान तिमाही में बैंक को 185.02 करोड़ रुपये का घाटा हुआ था। 2018 की अप्रैल-जून तिमाही में यह 721.71 करोड़ रुपये के घाटे में रहा था। वहीं इसकी शुद्ध ब्याज आमदनी 600.67 करोड़ रुपये से 20.8% बढ़ कर 725.6 करोड़ रुपये हो गयी। हालाँकि इसकी कुल आमदनी 2,608.83 करोड़ रुपये के मुकाबले 2.75% घट कर 2,537.01 करोड़ रुपये रह गयी।
गौरतलब है कि 2017 की जुलाई-सितंबर तिमाही के मुकाबले 2018 की समान अवधि में देना बैंक की सकल एनपीए 13,201.27 करोड़ रुपये (17.23%) के मुकाबले 16,140.39 करोड़ रुपये (23.64%) और शुद्ध एनपीए 7,510.97 करोड़ रुपये (10.61%) से बढ़ कर 6,902.38 करोड़ रुपये (11.70%) की रही। साथ ही इसके प्रोविजन 736.56 करोड़ रुपये की तुलना में 867.83 करोड़ रुपये के हो गये।
कमजोर नतीजों के बावजूद देना बैंक के शेयर में मजबूती है। बीएसई में बैंक का शेयर 15.60 रुपये के पिछले बंद स्तर की तुलना में बढ़त के साथ 15.75 रुपये पर खुल कर सवा 1 बजे के करीब 17.05 रुपये के शिखर तक चढ़ा। 2 बजे के आस-पास बैंक के शेयरों में 0.55 रुपये या 3.53% की बढ़त के साथ 16.15 रुपये पर सौदे हो रहे हैं। (शेयर मंथन, 30 अक्टूबर 2018)
Add comment