सोयाबीन वायदा (सितम्बर) की कमतों के 3,760-3,830 रुपये के सीमित दायरे में रहने की संभावना है।
आने वाले दिनों में कारोबारी उम्मीद कर रहे हैं कि नयी फसल की आवक संभवत: सितम्बर के पहले सप्ताह से शुरू होगी और इस सीजन में बंपर फसल की संभावना है। सोप के पहले अग्रिम अनुमान के अनुसार 2020 में सोयाबीन खरीफ फसल का उत्पादन 2019 के 93.062 लाख टन की तुलना में 122.475 लाख टन होने का अनुमान है उत्पादकता 1,052 किलोग्राम प्रति हेक्टेयर होने का अनुमान है, जबकि 2019 में 865 किलोग्राम प्रति हेक्टेयर थी पिछले सीजन में 107.613 लाख हेक्टेयर की तुलना में इस खरीफ के दौरान खेती का क्षेत्र 116.435 लाख हेक्टेयर है।
सरसों वायदा (सितम्बर) की कीमतों में तेजी का रुझान है और कीमतें 5,220 रुपये के पिछले उच्च स्तर से ऊपर जाती है तो 5,300-5,350 रुपये के स्तर तक पहुँच सकती है। कम फसल का अनुमान, त्यौहार और मौसमी माँग और नेफेड द्वारा कीमतों में वृद्धि सरसों की कीमतों में तेजी के मजबूत कारक है। बाजार सूत्रों ने कहा कि कीमतों में बढ़ोतरी जारी रह सकती है क्योंकि अगले फसल सात महीने बाद आयेगी। किसान अपनी फसल को अपनी आर्थिक जरूरत के अनुसार बेच रहे हैं। और वे सरसों को रोक कर रख सकते हैं क्योंकि भंडारण में नुकसान का कोई डर नहीं है। वित्त वर्ष 2020-21 के अंतिम चार महीनों के दौराम सरसोंमील का निर्यात पिछले वर्ष की समान अवधि के 3,73,733 टन के मुकाबले 17% की बढ़ोतरी के साथ 4,63,480 टन हुआ है।
सोया तेल (सितम्बर) की कीमतों के 865-875 रुपये के सीमित दायरे में कारोबार करने की संभावना है, जबकि सीपीओ (सितम्बर) की कीमतें 750-760 रुपये के दायरे में मजबूत हो सकती है। होरेका सेगमेंट की ओर से फिजिकल माँग में कमी और आने वाले महीनों में 12-13 लाख टन के अधिक आयात की उम्मीद के कारण कीमतों की बढ़त पर रोक लगी रह सकती है। (शेयर मंथन, 24 अगस्त 2020)
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