आईटी क्षेत्र की दिग्गज कंपनी इन्फोसिस को बड़ा झटका लगा है। कंपनी के साथ पहले किए गए करार को वैश्विक स्तर के एक ग्राहक ने तोड़ दिया है।
हालाकि कंपनी ने कंपनी के नाम का खुलासा नहीं किया है। इसके साथ हीं कंपनी ने करार खत्म करने की वजह के बारे में भी जानकारी साक्षा नहीं की है। आपको बता दें कि कंपनी ने एमओयू यानी समझौता पत्र पर हस्ताक्षर सितंबर महीने में किया था । दोनों पक्ष यानी कंपनियां मास्टर एग्रीमेंट के तहत तय शर्तों का पालन नहीं कर रही हैं और इस आधार पर यह करार रद्द हो गया है। कंपनी ने एक्सचेंज को जानकारी देते हुए कहा है कि यह करार डिजिटल अनुभव मुहैया कराने के मकसद से किया गया था। इसके साथ ही कारोबार के ऑपरेशन को आधुनिकीकरण करना भी करार में शामिल था। कंपनी के प्लैटफॉर्म के बेहतर इस्तेमाल के साथ आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (AI) सॉल्यूशंस भी मुहैया कराना था।
कंपनी की ओर से सितंबर में एक्सचेंज को दी गई जानकारी के मुताबिक अगले 15 सालों में ग्राहकों की ओर से अगले 15 सालों में आईटी सर्विस पर करीब 150 करोड़ डॉलर खर्च करने का अनुमान है। हालाकि कि यह अनुमान ग्राहकों की ओर किए जाने वाले मास्टर एग्रीमेंट के ऊपर निर्भर करेगा। पिछले सप्ताह भी कंपनी को LKQ Europe से 5 साल के लिए ऑर्डर मिला था। यह कंपनी ऑटो पार्ट्स के वितरण का काम करती है। हाल ही में कंपनी ने लंदन की एक कंपनी लिबर्टी ग्लोबल के साथ 5 साल का करार किया था। इस करार की वैल्यू 164 करोड़ डॉलर है। कंपनी ने वित्त वर्ष 2024 की दूसरी तिमाही में 770 करोड़ डॉलर का ऑर्डर जीता था। शुक्रवार को कंपनी का शेयर बीएसई पर 1.75% चढ़ कर 1562.90 रुपये प्रति शेयर पर बंद हुआ।
(शेयर मंथन, 23 दिसंबर 2023)
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