आइडिया सेल्युलर (Idea Cellular) ने कारोबारी साल 2018-19 की अप्रैल-जून तिमाही में 256.5 करोड़ रुपये का मुनाफा कमाया।
लगातार 6 तिमाहियों में घाटा होने के बाद कंपनी को मोबाइल टावरों की बिक्री के कारण मुनाफा हुआ है। कंपनी ने आइडिया सेल्युलर इन्फ्रा सर्विसेज को बेच कर 3,364 करोड़ रुपये का एकबारगी मुनाफा कमाया। इससे पहले 2017-18 की समान अवधि में कंपनी 814.90 करोड़ रुपये के घाटे में रही थी, जबकि जनवरी-मार्च में इसे 962.2 करोड़ रुपये का घाटा हुआ था।
आइडिया की शुद्ध आमदनी भी 8,166.5 करोड़ रुपये से 28% घट कर 5,889.2 करोड़ रुपये और मोबाइल सेवा कारोबार 7,972.8 करोड़ रुपये से 28% ही घट कर 5,745.3 करोड़ रुपये रह गया। दूरसंचार कंपनी के लिए महत्वपूर्ण प्रति उपभोक्ता औसत आमदनी (एआरपीयू) 141 रुपये से 29% गिर कर 100 रुपये रह गया। वहीं इसका उपभोक्ता आधार भी 18.9 करोड़ से गिर कर 18.79 करोड़ रह गया है।
गौरतलब है कि आइडिया को वोडाफोन के साथ विलय के लिए दूरसंचार विभाग की मंजूरी मिल गयी है, जिससे दोनों कंपनियों का विलय जल्द ही होगा। वोडा-आइडिया के विलय से बनने वाली कंपनी दूरसंचार क्षेत्र में एयरटेल को पीछे छोड़ कर सबसे बड़ी कंपनी होगी।
उधर बीएसई में आइडिया सेल्युलर के शेयर ने 58.45 रुपये के पिछले बंद स्तर की तुलना में कमजोरी के साथ 56.65 रुपये पर शुरुआत की। लाल निशान में खुलने के बाद शेयर में और कमजोरी देखी गयी है। 11 के करीब यह 3.10 रुपये या 5.30% की गिरावट के साथ 55.35 रुपये पर चल रहा है। (शेयर मंथन, 31 जुलाई 2018)
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