लीबिया से तेल निर्यात को लेकर अनिश्चितता बने रहने से कच्चे तेल की कीमतों में तेजी जारी रहने की संभावना है।
लेकिन ओपेक और उसके सहयोगी देशों की तेल उत्पादन में बढ़ोतरी करने की योजना से कीमतों पर दबाव पड़ सकता है। लीबिया के पूर्वी भाग में सेना ने विद्रोही गुटों के खिलाफ कार्रवाई करते हुए नेशनल ऑयल कॉर्प के प्रमुख बंदरगाह पर फिर से कब्जा कर लिया है। ओपेक और गैर-ओपक देशों की तेल आपूर्ति में 1 मिलियन बैरल प्रति दिन की बढ़ोतरी करने को लेकर घोषणा के बाद लीबिया से तेल निर्यात को लेकर अनिश्चितता बनी हुई है। बैठक में तेल का उत्पादन बढ़ाये जाने को लेकर सउदी अरब और ईरान के बीच भारी मतभेद बना बना रहा है। कच्चे तेल की कीमतों को 4,720 रुपये के नजदीक बाधा और 4,600 रुपये के स्त पर सहारा रह सकता है।
नेचुरल गैस वायदा की कीमतों के साइडवेज रहने की संभावना है। नेचुरल गैस की कीमतों को 202 रुपये के नजदीक स्तर पर बाधा और 196 रुपये के स्तर पर सहारा रह सकता है। अमेरिक नेचुरल गैस उत्पादन के रिकॉर्ड स्तर पर पहुँचने के कारण अमेरिकी नेचुरल गैस वायदा की कीमतों में गिरावट हुई है। (शेयर मंथन, 26 जून 2018)