रिलायंस कम्युनिकेशंस (Reliance Communications) द्वारा एरिक्सन (Ericsson) का कर्ज न चुका पाने के मामले में मंगलवार को अनिल अंबानी (Anil Ambani) उच्चतम न्यायालय में पेश हुए।
उन्होंने अदालत में कहा कि रिलायंस कम्युनिकेशंस को बेचने का सौदा आखिरी समय पर नहीं हो पाया। रिलायंस कम्युनिकेशंस (आरकॉम) कंपनी को उनके बड़े भाई मुकेश अंबानी की रिलायंस जियो 25,000 करोड़ रुपये के सौदे में खरीदने वाली थी। मगर सौदा पूरा नहीं हो पाया।
गौरतलब है कि अनिल अंबानी को अदालत ने आज भी पेश होने को कहा है। दरअसल आरकॉम ने एरिक्सन के करीब 550 करोड़ का बकाया ऋण नहीं चुकाया है। आरकॉम पर करीब 47,000 करोड़ रुपये का कर्ज है और इसीलिए जियो के साथ सौदे को बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा था। कर्ज चुकाने में नाकाम रहने के कारण आरकॉम ने एनसीएलटी (राष्ट्रीय कंपनी कानून प्राधिकरण) के पास दिवालिया याचिका दायर करने का ऐलान किया था।
हालाँकि आरकॉम ने सर्वोच्च न्यायालय में जवाब दाखिल कर कहा कि एरिक्सन के 550 करोड़ रुपये के बकाया कर्ज का भुगतान न करके कंपनी ने किसी प्रकार की अवमानना नहीं की है। आरकॉम की ओर वकील मुकुल रोहतगी ने न्यायमूर्ति रोहिंटन फली नरीमन और न्यायमूर्ति विनीत सरन की पीठ के समक्ष एरिक्सन द्वारा दाखिल अवमानना याचिका पर जवाब दिया।
बीएसई में आरकॉम का शेयर 5.62 रुपये के पिछले बंद स्तर के मुकाबले आज सुबह 5.60 रुपये रुपये पर खुल कर कारोबार के दौरान 6.06 रुपये तक चढ़ा। करीब 1 बजे कंपनी का शेयर 0.29 रुपये या 5.16% की मजबूती के साथ 5.91 रुपये पर चल रहा है। (शेयर मंथन, 13 फरवरी 2019)
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