कच्चे तेल की कीमतें इस उम्मीद पर बढ़त के साथ कारोबार कर रही हैं कि ओमाइक्रोन कोरोना वायरस संक्रमण बढ़ने के बावजूद ईंधन की माँग बनी हुई है और ओपेक और उसके सहयोगी केवल सीमित रूप में तेल की आपूर्ति बढ़ाना जारी रखेंगे।
आर्थिक विकास पर कोविड-19 के रिकॉर्ड उच्च मामलों के प्रभाव को सीमित करने के लिए सरकारों द्वारा उठाये गये कदमों जैसे कि कोविड जाँच नियमों को आसान बनाना से भी तेल की कीमतों को मदद मिली। ओपेक प्लस की बैठक 4 जनवरी को होगी जिसमें यह तय किया जायेगा कि फरवरी में उत्पादन बढ़ाना जारी रखा जाये या नहीं। सऊदी अरब के शाह सलमान ने कहा कि तेल बाजार की स्थिरता के लिए ओपेक प्लस उत्पादन समझौते की आवश्यकता थी और उत्पादकों को समझौते का पालन करना चाहिये। इराक ने कहा कि वह फरवरी में संयुक्त रूप से 4,00,000 बैरल प्रति दिन उत्पादन बढ़ाने के लिए मौजूदा ओपेक प्लस नीतियों से चिपके रहने का समर्थन करेगा। अमेरिकी कमोडिटी फ्यूचर्स ट्रेडिंग कमिशन ने कहा कि 21 दिसंबर को समाप्त तक मनी मैनेजरों ने अमेरिका कच्चा तेल वायदा और ऑप्शंस में अपने नेट लॉन्ग पोजीशन को बढ़ा दिया है। इस सप्ताह कच्चे तेल की कीमतों में दोनों तरफ की हलचल देखी जा सकती है, जहाँ कीमतें 5,400-5,900 रुपये के दायरे में कारोबार कर सकती है।
यह काफी उल्लेखनीय है कि पाँच वर्षों में सबसे बड़ी तेजी दर्ज करने वाली नेचुरल गैस की कीमतें 13 वर्षों में सबसे खराब तिमाही गिरावट की भरपायी कर रही है। न्यूयॉर्क के हेनरी हब पर गैस वायदा की कीमतें 2021 में 50% से अधिक की बढ़त दर्ज कर चुकी है जो 2016 के बाद से एक वर्ष में सबसे अधिक है। लेकिन चौथी तिमाही कीमतें लगभग 35% कम हो गयी हैं जो 2008 की तीसरी तिमाही के बाद सबसे बड़ी तिमाही गिरावट है। अगले दो हफ्तों में औसत से अधिक ठंडे मौसम के संयुक्त राज्य के केंद्र में जाने की उम्मीद है। पूर्वी तट पर मौसम सामान्य से अधिक गर्म रहेगा। आने वाले सप्ताह में गैस की कीमतें 240-305 रुपये के व्यापक दायरे में कारोबार कर सकती हैं। (शेयर मंथन, 03 जनवरी 2022)