एसएमसी ने अपनी साप्ताहिक रिपोर्ट में जिक्र किया है कि कॉटन वायदा (अगस्त) कीमतें यदि 20,300 रुपये के स्तर से ऊपर कारोबार करने में सफल रहती हैं तो 20,600-20,800 तक बढ़त दर्ज किये जाने की संभावना है।
बेहतर निर्यात बिक्री के आँकड़ों के कारण आईसीई में कॉटन वायदा की कीमतों में 62 सेंट प्रति पाउंड तक रिकवरी हो सकती है। इस तेजी का प्रमुख कारण चीन हो सकता है, जो मौजूदा व्यापार युद्ध के दौरान अमेरिका से बहुत अधिक कपास नहीं खरीद सकता है, लेकिन इस अवधि में अमेरिकी कपास खरीदने वाले बाजार में चीन के होने से ही कीमतों को मदद मिल सकती है।
कारोबारी फिलहाल यूएस कृषि विभाग द्वारा 12 अगस्त जारी होने वाले मासिक विश्व कृषि आपूर्ति और माँग अनुमान और 15 अगस्त को जारी होने वाले साप्ताहिक निर्यात बिक्री के आँकड़ों से पहले सतर्क हैं।
ग्वारसीड वायदा (सितंबर) की कीमतों को 4,320 रुपये के स्तर पर मजबूत सहारा रहने की संभावना है, जबकि ग्वारगम वायदा (सितंबर) की कीमतें 8,400 रुपये से ऊपर बनी रह सकती हैं। इन दोनों कमोडिटी की कीमतों में क्रमशः 4,500 रुपये और 8,810-8,985 रुपये तक बढ़त दर्ज किये जाने की संभावना है। हाल ही में अर्जेंटिना
द्वारा फाइटो-सेनेटरी प्रोटोकॉल को मंजूरी देने के लिए भारत से कमोडिटी के आयात की अनुमति दिये जाने से कारोबारियों के बीच उत्साह है। अर्जेंटिना में तेल और गैस उद्योग को शेल तेल के कुओं की ड्रिलिंग के दौरान रेत के पानी की जगह ग्वारगम का इस्तेमाल किया जायेगा।
कैस्टरसीड वायदा (सितंबर) की कीमतों में तेजी का रुझान रहने की संभावना है और कीमतें 5,625 के स्तर पर सहारे के साथ 5760 रुपये तक बढ़त दर्ज कर सकती हैं। कैस्टर के बुआई क्षेत्र में कमी के कारण कुल मिलाकर कीमतों में तेजी का रुझान है कृषि मंत्रालय के आँकड़ों के अनुसार 1 अगस्त तक देश में कैस्टर का रकबा 1,10,500 हेक्टेयर था, जो पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में 26.4% कम है। गुजरात के प्रमुख बाजारों में घरेलू स्टॉकिस्टों और तेल मिलों की ओर से अधिक माँग हो रही है। (शेयर मंथन, 10 अगस्त 2019)
कारोबारी फिलहाल यूएस कृषि विभाग द्वारा 12 अगस्त जारी होने वाले मासिक विश्व कृषि आपूर्ति और माँग अनुमान और 15 अगस्त को जारी होने वाले साप्ताहिक निर्यात बिक्री के आँकड़ों से पहले सतर्क हैं।
ग्वारसीड वायदा (सितंबर) की कीमतों को 4,320 रुपये के स्तर पर मजबूत सहारा रहने की संभावना है, जबकि ग्वारगम वायदा (सितंबर) की कीमतें 8,400 रुपये से ऊपर बनी रह सकती हैं। इन दोनों कमोडिटी की कीमतों में क्रमशः 4,500 रुपये और 8,810-8,985 रुपये तक बढ़त दर्ज किये जाने की संभावना है। हाल ही में अर्जेंटिना
द्वारा फाइटो-सेनेटरी प्रोटोकॉल को मंजूरी देने के लिए भारत से कमोडिटी के आयात की अनुमति दिये जाने से कारोबारियों के बीच उत्साह है। अर्जेंटिना में तेल और गैस उद्योग को शेल तेल के कुओं की ड्रिलिंग के दौरान रेत के पानी की जगह ग्वारगम का इस्तेमाल किया जायेगा।
कैस्टरसीड वायदा (सितंबर) की कीमतों में तेजी का रुझान रहने की संभावना है और कीमतें 5,625 के स्तर पर सहारे के साथ 5760 रुपये तक बढ़त दर्ज कर सकती हैं। कैस्टर के बुआई क्षेत्र में कमी के कारण कुल मिलाकर कीमतों में तेजी का रुझान है कृषि मंत्रालय के आँकड़ों के अनुसार 1 अगस्त तक देश में कैस्टर का रकबा 1,10,500 हेक्टेयर था, जो पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में 26.4% कम है। गुजरात के प्रमुख बाजारों में घरेलू स्टॉकिस्टों और तेल मिलों की ओर से अधिक माँग हो रही है। (शेयर मंथन, 10 अगस्त 2019)
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