खबरों के अनुसार केंद्र सरकार ने 20.50 लाख के सुरक्षित भंडार (Buffer Stock) से सात लाख टन दाल बेच दी है।
तूर सहित इतनी भारी मात्रा में दालों की बिकवाली पुराने भंडार को निबटाने और नये माल के लिए जगह बनाने के लिए की गयी है। केंद्र सरकार ने पहली बार अक्टूबर 2015 में पहले आयात और फिर घरेलू खरीदारी से दालों के लिए सुरक्षित भंडार स्थापित करने का निर्णय लिया था। सरकार ने यह कदम किसानों को बेहतर दाम सुनिश्चित करने औऱ कीमतें तेज होने पर स्थानीय आपूर्ति बढ़ाने के लिए उठाया था। सरकार, मिड-डे मील (Mid-Day Meal) जैसी केंद्रीय कल्याणकारी योजनाओं को छोड़ कर निजी कारोबारियों, सेना, राज्यों और अर्द्धसैनिक बलों को ई-नीलामी के जरिये दालें बेच रही है।
गौरतलब है कि सरकार ने दालों को जब खरीदा था तब कीमतें तेज थीं, जबकि इस समय भरपूर फसल के अनुमान के कारण बाजारों में मंदी है। बता दें कि अच्छे मॉनसून और उच्च समर्थन मूल्य के कारण फसल वर्ष 2017-18 (जुलाई-जून) के दौरान देश में 2.395 करोड़ टन दालों का उत्पादन की संभावना है, जो पिछले साल 2.313 करोड़ टन था। (शेयर मंथन, 31 मार्च 2018)
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