कच्चे तेल की कीमतों में तेजी रहने की संभावना है।
औद्योगिक समूह द्वारा अमेरिकी कच्चे तेल के भंडार में लगातार चौथे दिन गिरावट के अनुमान के बाद आज शुरुआती कारोबार में तेल की कीमतों में 1% से अधिक गिरावट हुई है।
ओपेक और रूस सहित गैर-ओपेक देशों द्वारा तेल उत्पादन में कटौती जारी रखने के फैसले से भी तेल की बेंचमार्क कीमतों में बढ़त देखी जा रही है। एपीआई के अनुसार पिछले हफ्ते अमेरिकी कच्चे तेल का भंडार अनुमान से अधिक कम हुआ है और गैसोलीन का भंडार भी कम हुआ है।
कच्चे तेल की कीमतों के 4,000 रुपये पर सहारे के साथ 4,070 रुपये के स्तर पर पहुँच जाने की संभावना है। लेकिन चीन और अमेरिका के बीच लंबे होते व्यापार युद्ध के कारण वैश्विक आर्थिक वृद्धि के बाधित होने आशंका से तेल की माँग कम होने की संभावना से कीमतों पर दबाव भी पड़ रहा है।
उधर नेचुरल गैस वायदा की कीमतों में तेजी रह सकती है और कीमतें 164 रुपये के स्तर पर सहारे के साथ 169 रुपये तक बढ़ सकती हैं। (शेयर मंथन, 10 जुलाई 2019)
ओपेक और रूस सहित गैर-ओपेक देशों द्वारा तेल उत्पादन में कटौती जारी रखने के फैसले से भी तेल की बेंचमार्क कीमतों में बढ़त देखी जा रही है। एपीआई के अनुसार पिछले हफ्ते अमेरिकी कच्चे तेल का भंडार अनुमान से अधिक कम हुआ है और गैसोलीन का भंडार भी कम हुआ है।
कच्चे तेल की कीमतों के 4,000 रुपये पर सहारे के साथ 4,070 रुपये के स्तर पर पहुँच जाने की संभावना है। लेकिन चीन और अमेरिका के बीच लंबे होते व्यापार युद्ध के कारण वैश्विक आर्थिक वृद्धि के बाधित होने आशंका से तेल की माँग कम होने की संभावना से कीमतों पर दबाव भी पड़ रहा है।
उधर नेचुरल गैस वायदा की कीमतों में तेजी रह सकती है और कीमतें 164 रुपये के स्तर पर सहारे के साथ 169 रुपये तक बढ़ सकती हैं। (शेयर मंथन, 10 जुलाई 2019)