वित्त वर्ष 2023 में म्यूचुअल फंड (MF) में प्रवाह (इनफ्लो) 7 फीसदी बढ़ा वित्त वर्ष 2023 में म्यूचुअल फंड में फंड प्रवाह 7 फीसदी बढ़कर 40.05 लाख करोड़ रुपए के स्तर पर पहुंच गया है।
पिछले साल यानी वित्त वर्ष 2022 में फंड प्रवाह 37.70 लाख करोड़ रुपए था।हालाकि ध्यान देखने की बात यह है विस्तृत बाजार यानी ब्रोडर मार्केट में प्रदर्शन लगभग शांत रहा था। एसोशिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड्स इन इंडिया यानी एम्फी (AMFI) की ओर से जारी किए आंकड़ों के मुताबिक इंडस्ट्री का शुद्ध एयूएम (AUM) यानी एसेट अंडर मैनेजमेंट 39.4 लाख करोड़ रुपए रहा, वहीं औसत एयूएम 40.04 लाख करोड़ रुपए के स्तर पर पहुंच गया है। पिछले वित्त वर्ष में सेंसेक्स में मात्र 0.72 फीसदी की बढ़ोतरी हुई थी, वहीं निवेशकों के करीब 5.86 लाख करोड़ रुपए स्वाहा हो गए थे। कुल एयूएम में रिटेल की हिस्सेदारी इक्विटी, हाइब्रिड ऐंड सॉल्यूशन ओरिएंटेड स्कीम में करीब 20.34 लाख करोड़ रुपए रही।वहीं औसत एयूएम 20.45 लाख करोड़ रुपए दर्ज हुई। इसमें सबसे ज्यादा हिस्सेदारी एसआईपी (SIP) की रही जो मार्च में बढ़कर 14,276.06 करोड़ रुपए के स्तर पर पहुंच गई। इसके कारण एयूएम 6.83 लाख करोड़ रुपए हो गई। एसआईपी में निवेश मासिक आधार पर रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया है।
एएमएफआई (AMFI) के चीफ एग्जीक्यूटिव एन एस वेंकटेश ने कहा कि निवेशकों के बेस में बढ़ोतरी इक्विटी बाजार के जरिए म्यूचुअल फंड्स में निवेश के प्रति बढ़ते भरोसे को दर्शाता है। वहीं इक्विटी ओरिएंटेड म्यूचुअल फंड्स में वित्त वर्ष 2023 में शुद्ध प्रवाह 2 लाख करोड़ रुपए रहा है। वैश्विक बाजारों में अनिश्चितता, महंगाई के बावजूद भी निवेशकों की संख्या में बढ़ोतरी देखने को मिली है। एसआईपी (SIP) की संख्या मार्च तक 6.36 करोड़ है। वहीं 21.65 लाख नए एसआईपी रजिस्टर्ड हुए हैं। वित्त वर्ष 2023 में 43 नई योजनाएं बाजार में आई। इसमें 22 ओपेन एंडेड जबकि 21 क्लोज एंडेड योजनाएं थी। इसके जरिए बाजार से 8,496 करोड़ रुपए जुटाए गए। इक्विटी और इक्विटी से जुड़े योजनाओं में निवेश 31 फीसदी बढ़कर 20,534.2 करोड़ रुपए के स्तर पर पहुंच गया है। यह आंकड़ा मार्च 2022 के बाद रिकॉर्ड स्तर पर है।
(शेयर मंथन, 16 अप्रैल, 2023)